झारखंड शून्य कार्बन संक्रमण फ्रेमवर्क बनाने वाला पहला एशियाई राज्य।
रांची: झारखंड सरकार ने स्वच्छ और सुरक्षित ऊर्जा की दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाते हुए 'शून्य कार्बन संक्रमण' हेतु एशिया का पहला राज्य बनने की दिशा में अग्रसरता दिखाई है।

योजना एवं विकास विभाग और स्वानिति इनिशिएटिव्स के बीच एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए गए हैं। यह समझौता एनर्जी ट्रांजिशन रेडीनेस इंडेक्स फ्रेमवर्क फॉर झारखंड तैयार करने के उद्देश्य से किया गया, जो राज्य को कार्बन उत्सर्जन में कमी लाने और सतत विकास लक्ष्य-2030 को हासिल करने में मदद करेगा।
कार्यक्रम में योजना सचिव पंकज कुमार ने ऊर्जा क्षेत्र में इस परिवर्तन की आवश्यकता और संभावनाओं पर चर्चा की। स्वानिति इनिशिएटिव्स की ट्रस्टी मेघा भट्टाचार्य ने विषय पर विस्तृत प्रस्तुति दी। उन्होंने बताया कि यह फ्रेमवर्क सभी विभागों की साझेदारी को बढ़ावा देगा और नीतिगत दिशा में मार्गदर्शक सिद्ध होगा। कार्यक्रम में झारखंड सरकार के योजना एवं विकास मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने कोयला आधारित ऊर्जा उत्पादन की वर्तमान स्थिति और स्वच्छ ऊर्जा की ओर बढ़ने के महत्व पर बल दिया।
मंत्री किशोर ने कहा कि योजना विभाग को ‘सभी विभागों की जननी’ कहा जा सकता है क्योंकि यह राज्य के समग्र विकास की नींव रखता है। उन्होंने समझौते के लिए सचिव पंकज कुमार और स्वानिति की टीम को बधाई दी। इस ऐतिहासिक MoU पर विभाग की ओर से संयुक्त सचिव विनोद यादव और स्वानिति इनिशिएटिव्स की ओर से मेघा भट्टाचार्य ने हस्ताक्षर किए। इस मौके पर कई वरिष्ठ अधिकारी और विशेषज्ञ भी मौजूद रहे।